प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना, क्या है, घटक, लाभ, अप्लाई (Pradhanmantri Matsya Sampada Yojana, PMMSY, Ministry, Scheme, Components, Eligibility, Implementation in Hindi)
पिछले साल प्रधानमंत्री मोदी जी द्वारा मछुआरों के लिए एक योजना का ऐलान किया गया था. जिसका नाम है प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना, इस योजना को नील क्रांति के नाम से भी जाना जाता है. हालही में इस योजना को केंद्र सरकार ने लागू करने के लिए मंजूरी दे दी हैं. इस योजना को शुरू कर सरकार मछली एवं जलीय उत्पादों के लिए भारत को हॉट्सपॉट में बदलने जा रही हैं. और साथ ही मछुआरा समूह को किसानों को दी जाने वाली सभी कल्याणकारी योजनाओं का लाभ पहुँचाना चाहती हैं. इससे मछुआरा समुदाय के लोगों के लिए रोजगार के अवसर में वृद्धि होगी. यदि आप भी मछली पालन का व्यवसाय कर इस योजना का लाभ लेकर पैसा कमाना चाहते हैं, तो इस लेख को अंत तक पढियें.
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प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना क्या है (What is Pradhanmantri Matsya Sampada Yojana)
प्रधानमंत्री जी द्वारा शुरू की गई प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना जिसे नीली क्रांति नाम भी दिया गया है, को एक्वाकल्चर को बढ़ावा देने के लिए शुरू किया गया है. जिसे हालही में मंजूरी दे दी गई है. इसके लिए सरकार द्वारा पहले से ही एक विभाग / मंत्रालय का गठन कर दिया गया हैं जिसका नाम है मत्स्यकी मंत्रालय. भारत में मछली उत्पादन में विश्व में प्रथम स्थान प्राप्त करने की क्षमता है. इसी को बढ़ावा देने के लिए केंद्र सरकार ने इस योजना का गठन किया है. इसके तहत मछली पालन एवं जलीय क्षेत्रों के व्यवसाय में बढ़ोत्तरी की जा रही है. सभी राज्यों एवं केंद्र शासित प्रदेशों में इस योजना को वित्त वर्ष 2020-21 से वित्त वर्ष 2024-25 तक 5 वर्षों की अवधि के लिए लागू किया जा रहा है. अतः आप भी मछली पालन एवं जलीय क्षेत्र के व्यवसाय के साथ जुड़ इस योजना का लाभ उठा सकते हैं.
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प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना के लिए आर्थिक पैकेज (Pradhanmantri Matsya Sampada Yojana Aarthik Package)
इस योजना को केंद्र सरकार द्वारा हालही में मंजूरी मिलने के बाद इसे आर्थिक पैकेज में भी शामिल किया गया हैं. आर्थिक पैकेज के अनुसार मछुआरा समुदाय के लोगों के लिए इस योजना के तहत लगभग 20,500 करोड़ रूपये के बजट का ऐलान वित्त मंत्रालय की ओर से किया गया है. जिसमें निवेश की हिस्सेदारी 9407 करोड़ रूपये केंद्र सरकार की होगी, 4880 करोड़ रूपये राज्य सरकार की होगी, और बाकी के 5763 करोड़ रूपये लाभार्थियों का योगदान होगा.
प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना के मुख्य घटक (Pradhanmantri Matsya Sampada Yojana Components)
प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना को अलग – अलग घटकों के साथ एक अम्ब्रेला स्कीम के रूप में लागू किया जायेगा जोकि इस प्रकार हैं –
- सेंट्रल सेक्टर स्कीम :- प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना के सेंट्रल सेक्टर स्कीम घटक के तहत सरकार ने 17 हजार करोड़ रूपये की राशि तय की है.
- सेंट्रली स्पॉन्सर्ड स्कीम :- प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना के इस घटक के तहत 18,330 करोड़ रूपये के निवेश का निर्णय लिया गया है. इस निवेश को मुख्य रूप से 2 उप – घटकों यानि लाभार्थी और गैर लाभार्थी में बांटा गया हैं और इन दोनों उप – घटकों को 3 अन्य प्रमुखों के तहत अलग किया गया हैं. ये उत्पादन और उत्पादकता, इंफ्रास्ट्रक्चर एवं पोस्ट हार्वेस्ट मैनेजमेंट, मत्स्य प्रबंधन और रेगुलेटरी यानि नियामक फ्रेमवर्क आदि हैं.
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प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना को कैसे लागू किया जायेगा
- इस योजना को लागू करने के लिए कुछ श्रेणियां निर्धारित की गई हैं. जिसके अंतर्गत आपको बता दें कि इसमें वित्तीय सहायता की जिम्मेदारी पूरी तरह से सरकार की होगी. इसमें लाभार्थियों द्वारा किये जाने वाले कार्यों के संचालन का कार्य राष्ट्रीय मत्स्य विकास बोर्ड और साथ में केंद्र सरकार का होगा. इसके लिए सभी राज्यों में ऐसे लोग जोकि सामान्य वर्ग के हैं उन्हें केंद्र सरकार की ओर से 40 % की वित्तीय सहायता प्राप्त होगी, जबकि एसटी एवं एससी वर्ग के लोगों के लिए केंद्र सरकार 60 % की मदद करेगी.
- ऐसे राज्य जोकि पूर्वोत्तर और हिमालयी क्षेत्र में स्थित हैं, वहां केंद्र सरकार द्वारा 90 % का योगदान दिया जायेगा, जबकि बाकी बचा 10 प्रतिशत राज्य सरकार स्वयं देगी.
- इसके अलावा देश के ऐसे राज्य जिन पर केंद्र का शासन हैं उन पर केंद्र सरकार की ओर से 100 % का वित्तीय सहायता का योगदान दिया जायेगा.
प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना के लिए पात्रता मापदंड ( Eligibility Criteria)
- मछुआरा समुदाय के लोग :- इस योजना का लाभ केवल मछुआरा समुदाय से संबंध रखने वाले लोगों को प्रदान किया जाना है.
- जलीय कृषि :- ऐसे व्यक्ति जोकि जलीय क्षेत्रों से संबंध रखते हैं और जलीय कृषि का कार्य करते हैं या इसके लिए इच्छुक हैं, उन्हें इसके लिए पात्र माना जायेगा.
- प्राकृतिक आपदा से ग्रसित मछुआरें :- ऐसे मछुआरे जोकि किसी प्राकृतिक आपदा का बुरी तरह से सामना कर उससे ग्रसित हुए हैं, उन्हें भी इसका फायदा मिलेगा.
- जलीय जीवों की खेती :- ऐसे व्यक्ति या मछुआरें जोकि मछली पालन का कार्य करना तो जानते है पर इसी के साथ ही जलीय अन्य जीवों की खेती कर सकें उन्हें भी इस योजना में शामिल कर लाभ प्रदान किया जायेगा.
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प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना के लाभ (Benefits)
- इस योजना का सबसे बड़ा लाभ यह हैं कि मछली पालन के क्षेत्र में विकास हो, इनकी क्षमताओं को पूरी तरह से उपयोग किया जाये, जोकि अब तक मछली पालन में होने वाली कुछ कमियों के कारण नहीं हो पा रहा था.
- इस योजना से सालाना मछली के उत्पादन के कार्य में तेजी आयेगी, इससे कम से कम सालाना 9 % की दर से वृद्धि होगी, जिसके चलते सरकार ने मछली के उत्पादन के लिए साल 2024 – 25 तक 22 मिलियन मीट्रिक टन का लक्ष्य तय किया है.
- इसमें आगे लोगों को मछली पालन के लिए गुणवत्तापूर्ण बीज की प्राप्ति हो सकेगी और साथ ही जलीय प्रबंधनों के कार्य को बढ़ावा भी मिल सकेगा.
- मच्छली पालन करने वाले लोगों को शहरों एवं ग्रामीण क्षेत्रों से सीधे कनेक्ट किया जायेगा, जिससे रोजगार में वृद्धि होगी. साथ ही इस कार्य को करने वाले लोगों की आय में भी वृद्धि होगी.
- मछली पालन क्षेत्र में निवेश बढ़ेगा जिससे ज्यादा से ज्यादा लोग इसके साथ जुड़ेंगे. इससे बाजार में इससे जुड़े उत्पादों की मांग बढ़ेगी और प्रतिस्पर्धियों की संख्या में भी काफी बढ़ोत्तरी होगी.
- सरकार की ओर से किसानों की तरह मछली पालन के कार्य में जुड़ने वाले लोगों की आय भी आने वाले 4 साल में दुगनी करने में मदद की जायेगी.
- इस क्षेत्र के लोगों की सामाजिक एवं आर्थिक रूप से मदद भी की जाएगी.
प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना में आवेदन कैसे करें (How to Apply)
प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना को हालही में मंजूरी दी गई है इसका लाभ लाभार्थियों को कैसे मिलेगा एवं वे इसके लिए आवेदन ऑनलाइन या ऑफलाइन किस तरह से कर सकते हैं, इसकी जानकारी को अभी सरकार द्वारा जारी नहीं किया गया है. आपको यह जानकारी जल्द ही इस लेख से प्राप्त हो जाएगी.
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अतः यदि आप भी जलीय क्षेत्र के इलाकों में या इसके आस – पास कहीं रहते हैं, और आपको रोजगार की तलाश हैं, तो आने वाले कुछ सालों में मछली पालन का व्यवसाय काफी कारीगार सिद्ध हो सकता हैं. क्योकि सरकार ने ऐसे लोगों की मदद के लिए मत्स्य संपदा योजना की शुरुआत की हैं जिससे इन्हें लाभ मिलेगा.
एफएक्यू (FAQ’s)
Q : मत्स्य संपदा योजना क्या है ?
Ans : मत्स्य संपदा योजना केंद्र सरकार द्वारा शुरू की गई है, जोकि मछली पालन को बढ़ावा देने के लिए हैं. जिसके तहत लाखों लोगों को रोजगार की प्राप्ति हो सके.
Q : मत्स्य संपदा योजना की घोषणा कब की गई ?
Ans : पिछले बजट के दौरान इस योजना की घोषणा की गई थी, किन्तु इसे 15 मई को आर्थिक पैकेज की घोषणा के दौरान केंद्र सरकार द्वारा मंजूरी दी गई हैं और इसके लिए 20 हजार करोड़ रूपये का आवंटन की किया गया है.
Q : मत्स्य संपदा योजना का लांच किसके द्वारा किया गया ?
Ans : मत्स्य संपदा योजना को तत्कालिक वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण जी द्वारा लांच किया गया है.
Q : मत्स्य संपदा योजना और नीली क्रांति में क्या अंतर है ?
Ans : ये दोनों एक ही योजना के दो नाम हैं.
Q : मत्स्य संपदा योजना को कैसे लागू किया जायेगा ?
Ans : इस योजना को केंद्र एवं राज्य सरकार मिलकर लागू करेगी, जिसमें केंद्र सरकार का योगदान 60 % होगा जबकि 40 % राज्य सरकार का होगा.
Q : मत्स्य संपदा योजना के लिए ऑनलाइन आवेदन कैसे करें ?
Ans : इस योजना में ऑनलाइन एवं ऑफलाइन दोनों ही तरीके जल्द ही सरकार द्वारा जारी किये जायेंगे. इसके बाद आपको इस लेख के माध्यम से इसकी जानकारी मिल जाएगी.
Q : मत्स्य संपदा योजना या नीली क्रांति को कब तक चलाया जायेगा ?
Ans : इस योजना को साल 2025 तक चलायें जाने का लक्ष्य तय किया गया है.
Q : मत्स्य संपदा योजना के लिए पात्रता मापदंड क्या है ?
Ans : इस योजना में मछुआरा समुदाय, जलीय कृषि करने वाले, प्राकुतिक आपदा से पीढित और साथ ही मछली के अलावा अन्य जलीय जीवों की खेती करने वाले लोगों को शामिल किया गया है.
Q : मत्स्य संपदा योजना के तहत लाभार्थी सूची कैसे डाउनलोड करें ?
Ans : इस योजना के तहत अभी सरकार ने लाभार्थियों की कोई सूची नहीं निकाली हैं